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आशीष तिवारी

डीएमएफ पैसे की बंदरबांट पर पीसीसी अध्यक्ष मरकाम ने अपने ही सरकार को घेरा-निर्माण एजेंसी आरईएस कबसे कर रही सप्लाई का काम
आशीष तिवारी उप-संपादक Thewatchmannews.in.रायपुर(छ.ग.)
रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा के बजट सत्र में कोंडागांव में ग्रामीण यांत्रिकी सेवा संभाग में जिला निर्माण समिति के तहत कराए गए कार्यों में गड़बड़ी का मुद्दा प्रश्नकाल के दौरान उठा। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष और विधायक मोहन मरकाम ने यह मुद्दा उठाते हुए अपनी ही सरकार को घेरा। उन्होंने डीएमएफ के पैसे की बंदरबांट का आरोप लगाया। उन्होंने मामले की विधानसभा की समिति से जांच कराने की मांग की। मंत्री रविन्द्र चौबे ने मामले को गंभीर बताते हुए राज्यस्तर के अधिकारी से एक महीने में जांच कराने और दोषियों पर कार्रवाई की घोषणा की सदन में की है।
मोहम मरकाम ने कोंडागांव में डीएमएफ फंड के बंटवारे में बंदरबांट करने का आरोप लगाया है। सवाल किया गया कि आरईएस निर्माण एजेंसी है, तो कब से सरकार में सप्लाई का काम कर रही है। 7 करोड़ रुपये डीएमएफ के पैसे की बंदरबांट हुई है। एक ही अधिकारी को बहुत से पद पर बैठाया गया है। मरकाम ने मंत्री रविंद्र चौबे से पूछा, क्या इसमें जांच कराएंगे। क्या निर्माण एजेंसी सप्लाई का काम कर रही है। क्या अधिकारी पर कार्रवाई करेंगे? मामले की सदन की कमेटी से जांच की मांग की।
एक माह में आएगी रिपोर्ट
मंत्री रविन्द्र चौबे ने कहा, गंभीर मामले को उठाया है, हमने उत्तर दिया है। अरुण कुमार शर्मा, एक्जिक्यूटिव इंजीनियर वहां अधिकारी हैं। मंत्री ने कहा, कलेक्टर किसी को नोडल अधिकारी बना सकते हैं। राज्यस्तर के अधिकारी को भेज कर मामले की जांच कराई जाएगी। एक महीने के अंदर जांच रिपोर्ट आएगी। जांच रिपोर्ट के आधार पर दोषी अधिकारी पर कार्रवाई होगी।
मंत्री काे त्यागपत्र देना चाहिए- भाजपा
नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने भी इस मामले की सदन की कमेटी से जांच की मांग की। विपक्ष के सदस्य शिवरतन ने कहा कि खुद कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष आरोप लगा रहे हैं। मंत्री को इस पर त्यागपत्र दे देना चाहिए।

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