SUBHASH RATTANPAL
सुभाष रतनपाल
जगदलपुर। बस्तर आईजी ने आज बुधवार को बीते वर्ष बस्तर संभाग के अलग अलग जिलों में हुए नक्सल मामलों को लेकर जानकारी आंकड़ों के साथ जारी किया। इसके साथ ही बस्तर आईजी ने क्षेत्र में शांति भंग करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की बात कही।
बस्तर आईजी सुंदरराज पी. ने बताया कि बीते वर्षों के मुकाबले वर्ष 2022 में बस्तर संभाग में नक्सल मामलों से जुड़े कुल 227 अपराध दर्ज किए गए है। जब कि वर्ष 2017 से लेकर 2021 में ज्यादा मामले दर्ज हो चुके है। वहीं बस्तर संभाग में बीते वर्ष सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच 68 मुठभेड़ें हुई। बीते वर्षों में इससे ज्यादा मुठभेड़ जवानों और नक्सलियों के बीच हो चुके है। उन्होंने बताया कि बीते वर्ष इस मुठभेड़ में जवानों ने 30 नक्सलियों को मार गिराने में सफलता हांसिल की है। मारे गए सभी 30 नक्सलियों का शव जवानों ने मौके से बरामद भी कर लिया था। हालांकि बस्तर आईजी ने नक्सलियों के 30 शव बरामद होने के बावजूद मुठभेड़ में ज्यादा नक्सलियों के मारे जाने का दावा किया है।
उन्होंने बताया कि मुठभेड़ के बाद नक्सली अपने मारे गए साथियों के शव को सुरक्षाबलों के हाथों नही लगने के डर से शवों को अपने साथ लेकर भाग जाते है। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि शासन की पुर्नवास नीति से प्रभावित होकर वर्ष 2022 में कुल 415 नक्सलियों ने सुरक्षाबलों के सामने आत्मसमर्पण किया है। बस्तर आईजी ने बताया कि मुठभेड़ के बाद जवानों ने घटनास्थल से नक्सलियों के कुल 130 हथियार बरामद किए है। जिसमें एके 47 जैसे आधुनिक हथियार भी शामिल है। वहीं बस्तर आईजी सुंदरराज पी. ने बताया कि बीते वर्ष मुठभेड़ के बाद नक्सलियों को सुरक्षाबल का केवल 1 ही हथियार लूटने का मौका मिला। जो कि बीते वर्षों के मुकाबले कम है। इन मुठभेड़ों में सुरक्षाबलों को बीते वर्षों की तरह कम नुकसान हुआ है। उन्होंने बताया कि बीते वर्ष सुरक्षाबल के 9 जवान नक्सलियों से लोहा लेते हुए शहीद हो गए। वहीं नक्सलियों ने बस्तर संभाग के अलग अलग जगहों में आम लोगों को अपना निशाना बनाते हुए उनकी हत्या की है। उन्होंने बताया कि आम जनता पर मुखबिरी के साथ अन्य अन्य आरोप लगाते हुए नक्सलियों ने 31 लोगों की हत्या की है।