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आशीष तिवारी

रानी लक्ष्मीबाई वार्ड क्र.10 में अवैध निर्माण जहां जन प्रतिनिधि और जोन क्र.03 अधिकारीयों की भूमिका,कार्यप्रणाली पर उठ रहे सवाल-शासन द्वारा तोड़ने आदेश जारी होने पर भी अब तक कोई कार्यवाही नही:-देखें आदेश की कॉपी

आशीष तिवारी उप-संपादक

Thewatchmannews.in.रायपुर(छ.ग.)

मामले पर मौखिक लिखित की शिकायत कई बार हुई शासन के आदेश दिए जाने पर भी कार्यवाही नही

रायपुर। राजधानी रायपुर के मोवा स्थित आदर्श नगर काली माता मंदिर के पास सार्वजनिक सामुदायिक जमीन के पास ही द्वारका यदु नामक व्यक्ति पिछले 25 वर्षों से यहां रह रहे हैं और मोहल्ला विकास समिति के सचिव व कांग्रेस के समर्थक कार्यकर्ता भी हैं जिसकी NOC इन्हे पंचायत से भी मिली थी।तथा वही शौचालय का भी उपयोग किया जा रहा था उक्त शौचालय को अवैध बताकर तोड़ दिया गया एवम वहीं दूसरी तरफ पार्षद के वार्ड प्रतिनिधि रामकृष्ण बाजपाई द्वारा उसी खसरा नंबर पर जमीन से लगे हुए स्थान पर अवैध निर्माण का कार्य किया गया है।इस मामले पर कई बार मौखिक रूप से लिखित में भी शिकायत की गई है लेकिन आज दिनांक तक कोई भी संज्ञान इस अवैध निर्माण पर नही किया गया। वहीं द्वारका यदु की जमीन को तोड़ा गया और वहीं शौचालय भी बनाया गया जिसमे ताला बंद कर रखा गया है जो द्वारका यदु के हिस्से की जमीन में आता है उसे अवैध बताकर तोड़ा गया है।जबकि पूर्व में सभी उसका इस्तमाल कर रहे थे लेकिन अब जब शौचालय पूर्ण तैयार हो चुका है तो इसमें ताला क्यों लगा के रखा गया है, जिसे देखने पर समझ आने लगा कि यहां गड़बड़ी साफ चल रही है और यह पूछने पर कोई जवाब नही दिया जाता।और तो और द्वारका यदु के हिस्से वाली नाले से लगी दीवार को भी इस अवैध निर्माण के दौरान तोड़ा गया है।



जन सूचना अधिकारी के अवैध निर्माण को तोड़ने के आदेश के बाद भी अब तक कोई कार्यवाही नही हुई:
पीड़ित द्वारका यदु ने मीडिया से बात कर बताया कि वो पिछले 25 वर्षों से यहां निवासरत है और नगर निगम को कई बार, मोहल्ला विकास समिति के द्वारा भी, व्यक्तिगत भी अवगत कराया है कि ये निर्माण क्यों और किसलिए बन रहा है,इस पर यह बताया गया कि यहां साफ सफाई का काम होता है इसके कारण फावड़ा, रापा तथा अन्य समान रखना पड़ता है कहा, जो कि संतोषप्रद जानकारी नही मिली लेकिन द्वारका यदु ने इसकी और जानकारी मांगी लिखित में कि इस निर्माण को लेकर नगर निगम का क्या आदेश है जिसपर इन्हे कोई जानकारी नही दी गई,तब इन्होंने ऑब्जेक्शन किया की क्यों यह निर्माण कार्य अवैध रुप से कराया जा रहा है। द्वारका यदु ने आगे बताया कि कईयों बार शिकायत किए, सूचना का अधिकार में भी लिया  गया। शासन द्वारा इस अवैध निर्माण को तोड़ने का आदेश भी जारी हुआ लेकिन आज तक कोई कार्यवाही नही हुई।


पूर्व पार्षद, स्थानीय निवासियों के साथ जोन घेराव भी किया गया था, स्वास्थ्य अधिकारी के पास भी गए थे:
द्वारका यदु का कहना है कि पूर्व पार्षद तथा स्थानीय निवासियों का जोन घेराव भी किया गया था वहां उनसे बात किए तो जोन अधिकारी का कहना था कि हमने अस्थाई रूप से वहां अनुमति दी है जोकि वह बात मोहल्ला क्लिनिक की बात वहां हुई थी कि क्लिनिक अस्थाई रूप से दिया गया है इसपर द्वारका यदु ने कहा कि अस्थाई रूप से दिया गया है तो फिर अस्थाई रूप से बिल्डिंग कैसे खड़ी कर दी गई। उनके बताए अनुसार सभी स्वास्थ्य अधिकारी के पास भी गए थे।
जहां स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि नींव खोदने,भवन बनाने का कोई भी आदेश शासन द्वारा नही हुआ है।शासकीय भवन हो,आंगनबाड़ी हो, मोहल्ला विकास समिति ऑफिस हो उसमे एक कमरे में मोहल्ला क्लिनिक का संचालन, एडजस्टमेंट कर संचालन कर सकते हैं।
कुछ पूछने पर जनप्रतिनिधि द्वारा मार देने का आरोप बताया गया: जनप्रतिनिधि ही निर्माण करवा रहे और जोन अधिकारी का ही सरंक्षण होना बताया जा रहा:
पीड़ित का कहना है कि इस निर्माण कार्य के विषय में पूछे जाने पर जनप्रतिनिधि द्वारा मारने पीटने की बात भी सामने आई है। इसमें जनप्रतिनिधियों का ही निर्माण करवाना और जोन आधिकारी का ही सरंक्षण होना भी बताया गया। जोन अधिकारी से कुछ दिन पूर्व भी मिलने पर जोन अधिकारी ने संतोषजनक जवाब नही दिया हैं,इसपर द्वारका यदु ने कहा कि आप प्रशासनिक अधिकारी हैं निर्णय लेने की क्षमता भी आपके पास है।जो जनसमुदाय का कार्य है आप उसपर कार्य करें राजनीतिक लोगों के लिए क्यों काम कर रहे हैं। मोहल्ले वासी परेशान हैं और आप उनके लिए ही काम कर रहे हैं।आपसे अब कुछ नही हो पा रहा तो अब आगे इस मुद्दे पर हम कोर्ट में जाने को बाध्य हो गए हैं।
इस निर्माण कार्य पर मोहल्लेवासी और कुछ महिलाओं से भी पूछताछ करने पर किसी को इस विषय में कोई जानकारी नही है बताया गया।सभी स्थानीय निवासियों का कहना है कि हम द्वारका यदु को यहां रहते 25 सालों से देख रहे हैं और यह जमीन भी इन्ही के कब्जे में है, लेकीन अभी यहां अवैध निर्माण कार्य कराया जा रहा है जिसपर पूछने पर कोई भी जवाब नही दिया जा रहा है और द्वारका यदु के दीवार को तोड़ दिया गया है।



इस पूरे मामले की तस्दीक से पता चल रहा है कि जनसूचना अधिकारी के इस अवैध निर्माण को तोड़ने के आदेश जारी करने के बाद भी इसपर कार्यवाही अब तक नही कि गई और इसमें आदर्श नगर मोवा के जनप्रतिनिधि और जोन के अधिकारीयों की ही मिलीभगत है।

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